Skip to content Skip to footer

अन्नपूर्णा रथ यात्रा 2021-माननीय संस्कृति मंत्री जी द्वारा माता अन्नपूर्णा देवी मूर्ति की पुनर्स्थापना का समारोह,नई दिल्ली

100 साल पहले चोरी हुई मां अन्नपूर्णा की मूर्ति केंद्र सरकार की लंबी कोशिशों के बाद वाराणसी लाई जा रही है। गुरुवार को माता अन्नपूर्णा की प्रतिमा कनाडा से दिल्ली एयरपोर्ट पर पहुंची। यहां पर स्वागत के बाद धूमधाम से रथयात्रा निकाली गई। मूर्ति गाजियाबाद से गौतमबुद्ध नगर आएगी। मां अन्नपूर्णा की प्रतिमा 13 नवंबर को लखनऊ पहुंचेगी। बीजेपी महानगर इकाई की ओर से जगह-जगह स्वागत किया जाएगा। बीजेपी महानगर अध्यक्ष मुकेश शर्मा ने बताया कि यह यात्रा लखनऊ से बाराबंकी होते हुए अयोध्या जाएगी। फिर अगले दिन वाराणसी पहुंचेगी, जहां 15 नवंबर को एकादशी पर मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा होगी।

What's your reaction?
0Cool0Bad0Happy0Sad

अन्तर्राष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान

अन्तर्राष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान की स्थापना संस्कृति विभाग, उ०प्र० शासन द्वारा एतिहासिक तुलसी भवन, अयोध्या में 18 अगस्त, 1986 को की गयी। यह संस्कृति विभाग की स्वायत्तशासी संस्था है। वस्तुतः अयोध्या की पावन भूमि पर सरयु के तट स्थित रामघाट के निकट गोस्वामी तुलसीदास जी ने सम्वत्‌ 1631 की नवमी तिथि भौमवार को श्रीरामचरित मानस की रचना प्रारम्भ की

Subtitle
कैंप कार्यालय

Some description text for this item

अन्तर्राष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान

अन्तर्राष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान की स्थापना संस्कृति विभाग, उ०प्र० शासन द्वारा एतिहासिक तुलसी भवन, अयोध्या में 18 अगस्त, 1986 को की गयी। यह संस्कृति विभाग की स्वायत्तशासी संस्था है। वस्तुतः अयोध्या की पावन भूमि पर सरयु के तट स्थित रामघाट के निकट गोस्वामी तुलसीदास जी ने सम्वत्‌ 1631 की नवमी तिथि भौमवार को श्रीरामचरित मानस की रचना प्रारम्भ की
कैंप कार्यालय

कॉपीराइट ©2024 अन्तर्राष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान उ.प्र.| सॉफ्टजेन टेक्नोलॉजीज द्वारा डिजाइन व डेवलप